देश में गेहूं की लगातार बढ़ती कीमतों ने जहाँ आम आदमी का दिवाला निकल दिया है तो वही केंद्र सरकार की भी चिंता बढ़ा दी है । बढ़ी आटे की दरों पर काबू पाने के लिए केंद्र सरकार लगातार कदम उठा रही है ।केंद्र सरकार ने गेहूं और आटे की कीमत कम करने के लिए 30 लाख टन गेहूं पहले ही बाजार में उतारने का एलान कर दिया था । इसका असर बाजार में गेहूं के दामों पर दिखने लगा है ।हालांकि केंद्र सरकार की आमजन को जो राहत देने की कोशिश है । उतनी कवायद अभी तक जमीन पर नहीं दिख रही है। पिछले कुछ दिनों में जिस तरह से आटे की कीमत बढ़ी हैं ,उतनी तेजी से अभी कीमत घटी नहीं हैं। केंद्र सरकार इसी कड़ी में एक और बड़ा कदम उठाने जा रही है।
20 लाख टन और गेहूं खुले बाजार में आयेगा
केंद्र सरकार ने अभी तक 30 लाख टन गेंहू बेचने का निर्णय लिया था। केंद्र सरकार गेहूं की कीमत में कमी लाने के लिए लगातार निगरानी कर रही है । सरकार चाहती है कि आम जनता को और जल्द से जल्द राहत दी जाए, इसी कड़ी में अब 20 लाख टन गेहूं और खुले बाजार में बेचा जाएगा । बताया ये भी जा रहा है कि सरकार ने गेहूं में और अधिक रियायत देने के लिए गेहूं के रिजर्व प्राइस में भी 200 रुपये की कटौती की है।
11 लाख टन गेहूं की और हुई नीलामी
देश में गेहूं और आटे की कीमत पर केंद्र सरकार लगातार नजर बनाए हुए है। अभी तक 13 लाख टन गेहूं बाजार में बेचा जा चुका है । अब 11 लाख टन गेहूं की और नीलामी की गयी । इसके लिए एफसीआई के स्तर से सारी तैयारी कर ली गई है। गेहूं खरीद के लिए सभी छोटे बड़े कारोबारियों को आमंत्रित किया गया है। सरकार की कोशिश है कि अधिक कारोबियों की भागीदारी से देश के आमजन तक सस्ते गेहूं और आटे की पहुंच आसानी से हो सकेगी ।
इनकी भी घट जाएंगी कीमतें
जानकारों का कहना है कि केंद्र सरकार का गेहूं की दर घटाने के निर्णय का असर अन्य वस्तुओं के दामों पर देखने को मिलेगा। पिछले कुछ दिनों में आटे से बनाई जाने वाले खादय पदार्थाें के दामों में तेजी देखने को मिली है। लेकिन अब गेहूं की कीमत सस्ती होने से गेहूं से बनने वाले प्रॉडक्ट की कीमत में सुधार देखने को मिल सकता है।