ओडिशा में चुनाव की सरगर्मियां जोरो पर है। आरोप प्रत्यारोप का दौर जारी है। दो चरण के मतदान ख़त्म हो चुके हैं और अब 7 मई को तीसरे चरण के मतदान होने को हैं। ऐसे में मौजूदा सरकार और विपक्ष किसानों की मारी हालत के लिए एक दूसरे को कोस रहे हैं। ओडिशा में इनदिनों धान खरीद का मुद्दा चुनाव का मुख्य मुद्दा बना हुआ है।
धान को लेकर सत्ता पक्ष और विपक्ष आमनेसामने
ओडिशा में धान को लेकर भारतीय जनता पार्टी (BJP) और बीजू जनता दल (BJD) के बीच सियासी जंग तेज हो गई है। राज्य में धान खरीद को लेकर बीजेपी ने राज्य की सत्तारूढ़ बीजेडी पर गंभीर आरोप लगाए हैं। बीजेपी ने आरोप लगाया कि राज्य सरकार ओडिशा में कृषि और किसानों के जीवन का विकास करने में पूरी तरह विफल रही है।
धान की खरीद में एक लाख करोड़ रुपये से अधिक के भ्रष्टाचार का आरोप
ओडिशा बीजेपी के अध्यक्ष मनमोहन सामल ने बीजेडी सरकार पर धान की खरीद में एक लाख करोड़ रुपये से अधिक के भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए कहा कि राज्य में धान खरीद में भारी अनिमितता बरती गई है। बीजेपी ने बीजेडी के घोषणापत्र पर सवाल उठाते हुए कहा कि पार्टी ने अपने घोषणापत्र में किसानों के लिए सिंचाई सुविधा देने का वादा किया था लेकिन अभी तक वो सुविधाएं किसानों को नहीं मिली हैं। अभी भी ओडिशा में केवल 17 प्रतिशत भूमि में सिंचाई सुविधाएं उपलब्ध हैं। कृषि आधारित उद्योग बंद हो गए हैं। सरकार केवल झूठे वादे कर रही है।
कालिया योजना पर उठाये सवाल
ओडिशा सरकार की महत्वाकांक्षी कालिया योजना पर सवाल उठाते हुए उन्होंने कहा कि इस योजना के लाभार्थियों को अभी तक राज्य सरकार के दिए वादे के अनुसार राशि नहीं मिली है। राज्य सरकार ने आलू और प्याज मिशन पर 200 करोड़ रुपये खर्च किए पर यह मिशन पूरी तरह से विफल रहा क्योंकि सरकार के पास इस योजना को लागू करने की इच्छा शक्ति नहीं थी। बीजेपी नेता ने कहा कि राज्य में किसानों को उनकी धान का न्यूनतम समर्थन मूल्य भी नहीं मिल रहा है। मिल मालिकों और बिचौलियों द्वारा किसानों का शोषण किया जा रहा है।
बीजेपी देगी धान का MSP 3,100 रुपये प्रति क्विंटल
सामल ने कहा कि अगर राज्य में बीजेपी की सरकार बनी तो धान का न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) 3,100 रुपये प्रति क्विंटल तय किया जाएगा। उन्होंने कहा कि किसानों को भुगतान में कोई देरी नहीं होगी और उन्हें 48 घंटों में उनके बैंक खातों में पैसा मिल जाएगा। साथ कहा कि किसानों से कोई ‘कटनी और छंटनी’ नहीं की जाएगी। इसके अलावा सिंचाई सुविधाएं देने के लिए काम किया जाएगा।
मगरमच्छ के आंसू बहा रही है बीजेपी
वहीं बीजेपी के आरापों पर जवाब देते हुए बीजेडी के वरिष्ठ नेता सस्मित पात्रा ने राज्य बीजेपी प्रमुख पर मगरमच्छ के आंसू बहाने का आरोप लगाया। उन्होंने पूछा कि अगर बीजेपी को राज्य के किसानों की इतनी ही चिंता थी और एमएसपी में बढ़ोतरी चाहती थी तो पिछले सात साल से बीजेपी कहां थी।