घर की छत पर उगायें फल और सब्जियां होगी बेहतर पैदावार

नई दिल्ली : आज कल टेरेस गार्डनिंग का चलन है लोग अपनी छतों पर तरह तरह की सब्जियां और फल उगाते हैं। टेरेस गार्डनिंग से छत हरी भरी रहती है व घर के आस पास का वातावरण भी शुद्ध रहता है। टेरेस गार्डनिंग में ज्यादातर सब्जियॉं उगाते हैं लेकिन आजकल लोग अपनी छतों पर फलों के पेड़ भी लगा रहे हैं।

शहरों के साथ साथ ग्रामीण क्षेत्रों में भी लोग टेरेस गार्डनिंग और बालकनी में गमले लगाकर कई प्रकार के फल और सब्जियां ऊगा रहे हैं। वर्तमान समय में शहरों में बड़े पैमाने पर लोग अपने घर की छतों पर टमाटर,मिर्च, बैंगन ,भिंडी समेत अन्य सब्जियां ऊगा रहे हैं। जब ये सब्जियां तैयार हो जाती हैं तो लोग पकाकर इनका सेवन करते हैं।

शहरों में टेरेस फार्मिंग के तहत आजकल लोग फलों की खेती भी कर रहे हैं। आमतौर पर लोग नींबू, सेब, संतरा और अमरुद समेत अन्य फलों की खेती कर रहे हैं। खास बात यह है कि ये लोग इसमें रासायनिक खादों का उपयोग नहीं करते हैं। ये लोग हमेशा गोबर या रसोई घर से निकले सब्जियों के छिलके की खाद बनाकर पौधों में डालते हैं। घरों में उगाये जाने वाले फल पूरी तरह से ऑर्गैनिक होते हैं। यदि आप भी टेरेस फार्मिंग और बालकनी के गमलों में सब्जी और फल उगाना  चाहते हैं तो इसमें सिर्फ हाइब्रिड किस्म के पौधों को ही लगाएं। देसी पौधों का उपयोग बिलकुल भी न करें क्योंकि देशी किस्म के पौधों की जड़ें काफी गहराई में जाती हैं इसीलिए देसी पौधों की खेती संभव नहीं है।

विशेषज्ञों माने तो उनका कहना है कि स्थायी रूप से छत पर खेती करने के लिए सबसे अच्छा विकल्प है कि हम RCC (रींफोर्स्ड कंक्रीट) के पिलर की सहायता से 2 फीट ऊंची क्यारियां बनाएं। इसके बाद हम इन क्यारियों में मिट्टी भरकर उसमे गोबर मिला देना चाहिए। इसके पश्चात हम अच्छी तरह से किसी भी सब्जी और फल की खेती कर सकते हैं। गमलो की सिंचाई करने पर आपके घरों में सीलन की समस्या दूर हो जाएगी और पौधों को पौषक तत्वों की पर्याप्त मात्रा मिलेगी। इससे आपके घर के आस पास का वातावरण भी अच्छा होता है और ताज़ी हवा भी मिलती है और खाने के लिए ताज़ी सब्जियां और फल मिलते हैं।

 

 

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